भारत में पहला Green Hydrogen Blending Project की शुरुआत; NTPC ने गुजरात के कवास टाउनशिप मे किया सुरू, जाने क्या है खासियत..

NTPC ने भारत की पहली हरित हाइड्रोजन सम्मिश्रण परियोजना (ग्रीन हाइड्रोजन ब्लेंडिंग प्रोजेक्ट) को शुरू किया है. जो भारत में अपनी तरह का पहला प्रोजेक्ट है. जिसकी शुरुआत NTPC के कवास टाउनशिप, सूरत के पाइप्ड नेचुरल गैस (PNG) नेटवर्क में ग्रीन हाइड्रोजन ब्लेंडिंग के साथ की गयी है.
यह प्रोजेक्टNTPCऔरगुजरात गैस लिमिटेड(GGL) का एकजॉइंट वेंचरहै. इस प्रोजेक्ट के पहले ग्रीन हाइड्रोजन मॉलिक्यूल को प्रोजेक्ट चीफ पी.रामप्रसाद ने शुरू किया. इस अवसर पर GGL के सीनियर ऑफिसर और NTPC कवास के ऑफिसर भी मौजूद थे.
ग्रीन हाइड्रोजन ब्लेंडिंग प्रोजेक्ट की शुरू होने के बाद कवास टाउनशिप के निवासियों के लिए एक जागरूकता कार्यशाला का भी आयोजन किया. जिसका उद्देश्य सुरक्षा की दृष्टि से इस हाइड्रोजन ब्लेंडिंग प्रोजेक्ट के बारें में लोगों को जागरूक करना है.
ग्रीन हाइड्रोजन ब्लेंडिंग प्रोजेक्ट,
NTPC और गुजरात गैस लिमिटेड के इस जॉइंट प्रोजेक्ट की आधारशिलापीएम मोदीने30 जुलाई 2022को रखी थी. जिसके बाद इस प्रोजेक्ट को रिकॉर्ड समय में पूरा किया गया.
इसे प्रोजेक्ट को आदित्यनगर, सूरत में कवास टाउनशिप के घरों मेंH2-NG(natural gas) की सप्लाई के लिए तैयार किया गया है.
इस ग्रीन हाइड्रोजन ब्लेंडिंग सिस्टम को, पहले से स्थापित एक मेगावाट फ्लोटिंग सोलर प्रोजेक्ट से इलेक्ट्रिसिटी का उपयोग करके वाटर इलेक्ट्रोलिसिस के द्वारा तैयार किया गया है.
पेट्रोलियम एंड नेचुरल गैस रेगुलेटरी बोर्ड (PNGRB) ने पाइप्ड नेचुरल गैस के साथ ग्रीन हाइड्रोजन के 5 प्रतिशत वॉल्यूम को मिक्स करने की मंजूरी दी है. जिसे फेज वाइज 20 प्रतिशत तक किया जायेगा.
हरित हाइड्रोजन मिश्रण परियोजना का महत्व-
हरित हाइड्रोजन को प्राकृतिक गैस के साथ मिलाए जाने पर ग्रीन हाइड्रोजन शुद्ध हीटिंग सामग्री को समान रखते हुए कार्बन उत्सर्जन को कम करेगा। इसके अलावा यह स्वच्छ ऊर्जा का स्त्रोत है क्योंकि इसे सौर व पवन ऊर्जा जैसी अक्षय ऊर्जा का इस्तेमाल करके बनाया जाता है।